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चित्तौड़गढ़ में ‘वीरू’ जैसा हाईवोल्टेज ड्रामा: प्रेम विवाह के बाद पुलिस पर प्रताड़ना का आरोप लगाकर टॉवर पर चढ़ा युवक

चित्तौड़गढ़ में टॉवर पर चढ़ा युवक

चित्तौड़गढ़ |चित्तौड़गढ़ में टॉवर पर चढ़ा युवक बुधवार को पूरे शहर में चर्चा का विषय बन गया। शहर के कीरखेड़ा स्थित मौसम शाला परिसर में एक प्रेमी अपनी मांगों को लेकर मोबाइल टॉवर पर जा चढ़ा। शोले फिल्म के वीरू की तरह इस युवक ने पुलिस प्रशासन पर गंभीर आरोप लगाए। चित्तौड़गढ़ में टॉवर पर चढ़ा युवक पुलिस की कार्यप्रणाली और अपने प्रेम विवाह में दखलंदाजी से नाराज था, जिससे मौके पर भारी भीड़ जमा हो गई।

चित्तौड़गढ़ में टॉवर पर चढ़ा युवक: 10 साल का प्यार और विवाद

यह पूरा मामला प्रेम प्रसंग से जुड़ा है। जानकारी के अनुसार, युवक का नाम गोविंद रैगर है। गोविंद ने बताया कि वह पिछले 10 सालों से एक युवती के साथ रिलेशनशिप में है। दोनों बालिग हैं और एक-दूसरे से प्यार करते हैं। जब परिजनों की सहमति नहीं मिली, तो उन्होंने समाज की परवाह किए बिना 4 मार्च को कोर्ट मैरिज कर ली। इसके बाद, अपनी नई दुनिया बसाने के लिए वे 19 अप्रैल को घर छोड़कर उदयपुर चले गए थे।

लेकिन, युवक गोविंद रैगर का आरोप है कि उनकी खुशहाल जिंदगी ज्यादा दिन नहीं चल सकी। मात्र 9 दिन बाद ही चंदेरिया पुलिस उदयपुर पहुंची और उन्हें पकड़कर वापस चित्तौड़गढ़ ले आई। इसी बात से नाराज होकर उसने यह कदम उठाया।

पुलिस पर लगाए गंभीर आरोप

टॉवर पर चढ़े गोविंद ने चिल्लाते हुए पुलिस पर प्रताड़ना के गंभीर आरोप लगाए। उसने कहा, “हम दोनों बालिग हैं और अपनी मर्जी से साथ रहना चाहते हैं, लेकिन पुलिस ने हम पर दबाव बनाया।”

चित्तौड़गढ़ में टॉवर पर चढ़ा युवक ने आरोप लगाया कि:

  • पुलिस ने उसकी पत्नी (प्रेमिका) पर बयान बदलने का दबाव डाला।

  • उसे डराया गया कि अगर वह लड़की से अलग नहीं हुआ, तो उस पर रेप (दुष्कर्म) का केस दर्ज कर दिया जाएगा।

  • गोविंद ने यह भी दावा किया कि पुलिस हिरासत के दौरान उसके बैग से 14,000 रुपये निकाल लिए गए।

  • उसके साथ मारपीट भी की गई।

प्रशासनिक अमला और बचाव कार्य

चित्तौड़गढ़ में टॉवर पर चढ़ा युवक

मोके पर पहुंचे अधिकारी

जैसे ही यह खबर फैली कि चित्तौड़गढ़ में टॉवर पर चढ़ा युवक नीचे उतरने को तैयार नहीं है, पुलिस महकमे में खलबली मच गई। मौके पर डीएसपी (शहर) विनय चौधरी, कोतवाली थानाधिकारी तुलसीराम प्रजापत, एसआई पारस कुमार और एएसआई देवीलाल जाब्ते के साथ पहुंचे। स्थिति की संवेदनशीलता को देखते हुए सिविल डिफेंस की टीम को भी बुलाया गया।

नीचे भारी भीड़ जमा थी और हर कोई अनहोनी की आशंका से डरा हुआ था। पुलिस लगातार लाउडस्पीकर और इशारों से युवक को नीचे उतरने की अपील कर रही थी। लेकिन युवक अपनी बात मनवाने पर अड़ा रहा।

कजिन भाई और पुलिस की समझाइश से माना

मामले को गरमाता देख कोतवाली थानाधिकारी तुलसीराम प्रजापत ने सूझबूझ से काम लिया। उन्होंने युवक को भरोसा दिलाया कि उसकी पत्नी को मौके पर नहीं बुलाया जाएगा, लेकिन वह जहां चाहेगा, वहां उससे बात करवाई जाएगी। पुलिस ने उसके कजिन भाई (चचेरे भाई) को मौके पर बुलाया।

भाई ने गोविंद को आश्वासन दिया कि अब उसके साथ कोई अन्याय नहीं होगा और पुलिस उसकी बात सुनेगी। काफी देर चली मान-मनौव्वल और कजिन भाई के भरोसे के बाद युवक नीचे उतरने को राजी हुआ। उसके नीचे उतरते ही पुलिस और प्रशासन ने राहत की सांस ली।

प्रशासन की सूझबूझ से टला बड़ा हादसा इस घटना ने स्थानीय लोगों को सहमा दिया था। गनीमत रही कि सिविल डिफेंस की टीम और पुलिस ने वक्त रहते स्थिति को संभाल लिया। अक्सर देखा गया है कि प्रेम प्रसंग के ऐसे मामलों में थोड़ी सी भी चूक जानलेवा साबित हो सकती है और युवक कोई गलत कदम उठा सकता था। लेकिन चित्तौड़गढ़ पुलिस की सूझबूझ और धैर्य ने आज एक बड़ा हादसा टाल दिया। फिलहाल युवक अपने परिवार के साथ सुरक्षित है, लेकिन पुलिस ने यह भी स्पष्ट किया है कि अपनी मांगों के लिए कानून हाथ में लेना या जान जोखिम में डालना सही तरीका नहीं है।

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Aakash Sharma (Editor) The Times of MP

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